Videsh Se Bharat Kitna Sona la Sakte Hain : जानिए, विदेश से भारत कितना सोना ला सकते हैं
Videsh Se Bharat Kitna Sona la Sakte Hain : आज के समय में हम जब भी विदेश की यात्रा करते हैं, तो हम वहां से कुछ सामान लेकर आते हैं. भारत सरकार विदेश से आने वाले सोने के सिक्के या फिर गहने पर सख्त नियंत्रण किया जाता है. इसके लिए भारत सरकार ने नियम भी बनाया है. ये नियम भारतीय वित्त मंत्रालय के तहत आने वाले सेंट्रल इनडायरेक्ट टैक्स और कस्टम गाइड फॉर ट्रैवलर्स जारी होता है. इस आर्टिकल में हम आपको बताएंगे आप विदेश से कितना सोना ला सकते हैं. इसेक साथ ही आपको कितनी लिमिट पर आपको टैक्स यानी ड्यूटी देनी होगी.
सोने पर क्या नियम हैं || What are the rules on sleeping?
गोल्ड एक तरह का मेटल होता है. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) गोल्ड के रिजर्व और इंपोर्ट को कंट्रोल करता है. लोग विदेश से कितना सोना ला सकते हैं इसकी लिमिट सरकार द्वारा तय होती है. अगर आप सरकार की तय लिमिट से ज्यादा गोल्ड लाते हैं तो आपको ये ड्यूटी कंन्वर्टिबल करेंसी में देनी होती है. अगर आप गोल्ड बार, तोला बार जिस पर मैन्युफैक्चर का नाम या सीरियल नंबर लिखा है, उन पर 12.5 फीसदी की दर से चार्ज लगता है. वहीं गोल्ड के अलावा कोई और तरह के आभूषण जैसे कोई पत्थर या मोतियों से जड़े ज्वेलरी के अलावा 12.5 फीसदी ड्यूटी के साथ सरचार्ज 1.25 फीसदी भी लगाया जाता है.
विदेश से इतना ला सकते हैं सोना || You can bring this much gold from abroad
गोल्ड पर लगने वाले शुल्क के लिए आपके पास भारतीय पासपोर्ट होना चाहिए.. लोगों के बीच एक धारणा बनी हुई है कि वो विदेश से जितना मन होता है उतना सोना ला सकते हैं. लेकिन, ये धारणा पूरी तरह से गलत है. अगर आप 6 महीने में कुल 30 दिनों तक की छोटी विदेश यात्रा करते हैं तो सरकार आपकी इन यात्रा पर ध्यान नहीं देती है. आपको 38.5 फीसदी तक का सीमा शुल्क देना होता है.
अगर आप 1 साल से ज्यादा समय तक विदेश में रहते हैं तो आपको सीमा शुल्क पर भत्ता देते हैं. ये सीमा शुल्क अलग-अलग होती है. विदेश से आने वाले पुरुषों के लिए ये दर 50,000 रुपये की है, यानी कि आप 50,000 रुपये की कीमत का ही गोल्ड ला सकते हैं. वहीं कोई भी विदेश से आने वाले महिला केवल 1 लाख रुपये की कीमत के हिसाब से ह सोना ला सकता है.
विदेश से बाकी सामान को लेकर क्या नियम है || What are the rules for other items from abroad?
जब भी कोई व्यक्ति विदेश से भारत आता है, तो एयरपोर्ट पर उतरते ही उसे एक फॉर्म भरना होता है. उसमें ये बताना होता है कि आपने क्या शॉपिंग की. अगर कोई व्यक्ति ऐसा कोई सामान अपने साथ नहीं लेकर आ रहा है, जिस पर उसे ड्यूटी चुकानी हो, तो वह ग्रीन चैनल से गुजरता है. लेकिन अगर कोई व्यक्ति विदेश से ऐसे सामान ला रहा है, जिस पर उसे टैक्स देना है, तो उसे रेड चैनल से गुजरना होता है. विदेश से सामान लाने पर टैक्स देना पड़ता है. कितना टैक्स देना होगा. ये इस बात पर निर्भर करता है कि किसी व्यक्ति ने कितने दिन विदेश में बिताए हैं. नेपाल, भूटान या म्यांमार को छोड़कर बाकी देशों से आने वाले यात्री अपने साथ 50 हजार रुपए तक का सामान ला सकते हैं. नेपाल, भूटान या म्यांमार के संदर्भ में ये लिमिट 15 हजार रुपए है. इस लिमिट तक के सामान पर किसी तरह का टैक्स नहीं लगता है.
जैसा कि हमने बताया कि किसी सामान को लेकर कितना छूट मिलेगा, कितना टैक्स देना होगा, ये इस बात पर निर्भर करता है कि आपने कितना वक्त विदेश में बिताया है. अगर कोई प्रोफेशन या कोई बिजनेसमैन तीन से छह महीने में इंडिया आता है, तो अपने साथ 60 हजार रुपए तक के हाउसहोल्ड आइटम्स पर उसे छूट मिलती है.
छह से 12 महीने विदेश में बिताने वाला एक लाख, एक से लेकर दो साल रहने वाला दो लाख और दो साल से ज्यादा समय तक विदेश में रहने वाला पांच लाख तक का हाउसहोल्ड आइटम अपने साथ ला सकता है. लेकिन इसमें भी कई सारे टर्म एंड कंडिशन हैं. हम उसमें नहीं जाते हैं. इलेक्ट्रॉनिक आइटम्स, जैसे एलईडी या एलसीडी टीवी पर 36.5 प्रतिशत टैक्स देना होगा. इस तरह के कोई भी प्रोडक्ट, जो विदेश से खरीदकर लाए जा रहे हैं, उसकी वैल्यू काउंट की जाती है और फिर उस हिसाब से टैक्स देना होता है. अगर विदेश से आते समय आपके पास 10 हजार डॉलर या इससे ज्यादा की करंसी है, तो आपको इसे डिक्लियर करना होगा.
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