Haridwar : कार्तिक पूर्णिमा में इस बार गंगा स्नान नहीं कर पाएंगे श्रद्धालु, जानें कारण
Haridwar: धर्मनगरी हरिद्वार में श्रद्धालु हरकी पैड़ी समेत सभी गंगा घाटों पर कार्तिक पूर्णिमा का गंगा स्नान नहीं कर पाएंगे. कोरोना के बढ़ते खतरे को देखते हुए प्रशासन ने कार्तिक पूर्णिमा स्नान को स्थगित कर दिया है. आदेश का उल्लंघन करने वालों पर आपदा प्रबंधन अधिनियम के तहत कार्रवाई की जाएगी. इस साल कार्तिक पूर्णिमा 30 नवंबर को है.
कार्तिक पूर्णिमा पर गंगा घाटों पर श्रद्धालुओं की भारी भीड़ जुटने की आशंका के चलते प्रशासन ने स्नान स्थगित कर दिया है. दरअसल, कार्तिक पूर्णिमा स्नान पर दिल्ली, हरियाणा, पंजाब, हिमाचल, राजस्थान आदि राज्यों से बड़ी संख्या में श्रद्धालु गंगा स्नान के लिए हरिद्वार पहुंचते हैं.
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कुछ दिनों से जिले में कोरोना के मामलों में जबरदस्त इजाफा हुआ है. ऐसे में प्रशासन किसी तरह का खतरा मोल नहीं लेना चाहता है. इससे पहले भी प्रशासन ने सोमवती अमावस्या के स्नान को स्थगित किया था हालांकि तब आदेश को प्रभावी बनाने के लिए राज्य सीमाओं को सील किया गया था, लेकिन इस बार राज्य सीमाएं खुली रहेगी.
Stopping the devotees will be a challenge for the
police
सोमवती अमावस्या के दौरान परिस्थितियां अलग थी. तब अनलॉक की प्रक्रिया के चलते प्रशासन ने राज्य सीमाओं को पूरी तरह सील कर दिया था, लेकिन अब राज्य की सीमाएं पुरी तरह से खुली हैं। ऐसे में श्रद्धालुओं को गंगा घाटों पर आने से रोकना पुलिस के लिए सबसे बड़ी चुनौती होगी. यह तीसरी बार है जब कार्तिक पूर्णिमा स्नान स्थगित किया गया है.
अनलॉक छह के बाद राज्य की सीमा में रोजाना कई हजार लोग आवागमन कर रहे हैं. यह तय है कि राज्य सीमा से लोगों की आवाजाही जारी रहेगी. ऐसे में पुलिस के सामने आदेश के अनुपालन कराना सबसे बड़ी चुनौती है. हालांकि व्यवस्था को बनाने के लिए पुलिस ने तैयारी शुरू कर दी है
Ganga bath should be limited instead of stopping
सिटी मजिस्ट्रेट जगदीश लाल, एएसपी और सीओ सिटी डॉ. विशाखा अशोक भड़ाने की अध्यक्षता में हरकी पैड़ी चौकी पर बैठक आयोजित की गई. बैठक के दौरान श्रीगंगा सभा के पदाधिकारियों और व्यापारियों ने कहा कि स्नान पर्व को स्थगित की जगह सीमित किया जा सकता है. उन्होंने कहा कि इसके लिए व्यवस्था तैयार की जानी चाहिए.
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सिटी मजिस्ट्रेट जगदीश लाल ने श्रीगंगा सभा के पदाधिकारियों और व्यापारियों को बताया कि कोविड गाइडलाइन के मद्देनजर कार्तिक पूर्णिमा के स्नान को स्थगित किया गया है. उन्होंने आदेश के अनुपालन में श्रीगंगा सभा और व्यापारियों से सहयोग की अपील की. वहीं व्यापारियों ने देवपुरा से लेकर भीमगोड़ा क्षेत्र को साप्ताहिक बंदी से बाहर रखने की मांग की. व्यापारियों ने कहा कि इन बाजारों में अधिकांश यात्री ही खरीदारी के लिए पहुंचते हैं.
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ऐसे में बाजार बंद रहने पर यात्री को असुविधा का सामना करना पड़ता है. सिटी मजिस्ट्रेट ने बताया कि बाजारों और घाटों के आसपास मास्क पहनना पूरी तरह से अनिवार्य रहेगा. शारीरिक दूरी और मास्क के सुरक्षा नियमों का उल्लंघन करने वालों पर चालान की कार्रवाई की जाएगी. एएसपी और सीओ सिटी डॉ. विशाखा अशोक भड़ाने ने बताया हरकी पैड़ी और विभिन्न गंगा घाटों पर बैरिकेड लगाए जाएंगे. सुबह चार बजे तक पुलिस फोर्स घाटों के आसपास तैनात रहेगी.
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Police arrangements will remain like this at the ghats
हरकी पैड़ी समेत सभी घाटों पर स्नान पर रोक रहेगी.
सुबह चार बजे से शाम पांच बजे तक सभी घाटों पर पुलिस फोर्स तैनात रहेगी.
जिले के सभी थानों की पुलिस ड्यूटी 29 नवंबर को घाटों के लिए आवंटित हो जाएगी.
घाटों के प्रवेश द्वार पर पुलिस बैरिकेडिंग रहेगी.
घाटों के आसपास बिना मास्क लगाए घूमने वाले स्थानीय लोगों के भी चालान किए जाएंगे.
जिला प्रशासन के आदेशों का सख्ती से पालन कराने के साथ आपदा प्रबंधन एक्ट में मुकदमा दर्ज होगा.