Beautiful churches in India for Christmas Celebration : क्रिसमस ऐसा फेस्टिवल है जो अपने साथ हॉलीडे सीजन भी लेकर आता है. दुनिया भर में क्रिसमस के मौके पर जश्न का लंबा सिलसिला शुरू होता है. ईसाई धर्म की भारत में कुल आबादी का 3 प्रतिशत है लेकिन भारत में बीते कुछ सालों में क्रिसमस एक ट्रेंडी फेस्टिवल बनकर उभरा है. क्रिसमस के दौरान लोग फेस्टिव मूड में आकर जश्न मनाने निकल पड़ते हैं.
भारत में ऐसे कई लोग हैं जिन्हें क्रिसमस के मौके पर ऐसे चर्च की तलाश होती हैं, जहां फेस्टिवल बेहतरीन ढंग से सेलिब्रेट होता है. तो आइए Travel Junoon में जानते हैं भारत के ऐसे चर्च के बारे में जहां क्रिसमस फेस्टिवल धूमधाम से मनाया (Beautiful churches in India for Christmas Celebration ) जाता है.
भारत में कई ऐतिहासिक चर्च हैं. ऐसा कहा जाता है कि सेंट थॉमस ने केरल में कुछ चर्चों की स्थापना करके भारत में इस नए धार्मिक विश्वास का परिचय दिया. उन्होंने दूसरों को ईसाई धर्म के बारे में जागरुक करने के लिए पूरे भारत में चर्चों का निर्माण करने के लिए प्रेरित किया. ब्रिटिश, डच, फ्रेंच और पुर्तगाली सहित यूरोपीय लोगों के भारी प्रवासन के कारण भारत में कई चर्चों की स्थापना हुई. उन्होंने इस नए प्रकार की आर्किटेक्चर की शुरुआत की जिसके परिणामस्वरूप भारत में कई शानदार चर्च दिखाई देते हैं
से कैथेड्रल को भारत के सबसे बड़े चर्चों में से एक माना जाता है, जो अलेक्जेंड्रिया की कैथरीन को समर्पित है. इस चर्च का निर्माण एक मुस्लिम सेना पर पुर्तगालियों की जीत का जश्न मनाने के लिए किया गया था. पुर्तगालियों ने 1510 में गोवा शहर पर कब्जा कर लिया गया था. इस विजय का दिन सेंट कैथरीन की दावत पर था, तो चर्च उसके लिए समर्पित था. इस गिरजाघर का निर्माण 1562 में शुरू हुआ और 1619 तक पूरा हुआ.
चर्च 250 मीटर ऊंचा और 181 मीटर चौड़ा है. इस चर्च का मुख्य आकर्षण इसकी ‘गोल्डन बेल’ है, जिसे दुनिया की सबसे खूबसूरत घंटियों में से एक माना जाता है. अलेक्जेंड्रिया की कैथरीन को समर्पित चर्च की मुख्य वेदी पर कुछ पुराने चित्र हैं.
यह केरल के सबसे पुराने रोमन कैथोलिक चर्चों में से एक है. यह केरल के अल्लेप्पी जिले में लगभग सभी कैथोलिक सीरियाई चर्चों की मातृ चर्च है, जिसे 427 ईस्वी में स्थापित माना जाता था. इस चर्च की इमारत अपने निर्माण के समय से कई नवीनीकरणों से गुजरी है. चर्च के आसपास कई पुरातात्विक कलाकृतियों की खोज की गई है.
इसे वेलंकन्नी चर्च के रूप में भी जाना जाता है. बेसिलिका ऑफ अवर लेडी ऑफ गुड हेल्थ चर्च भारत में सबसे मशहूर चर्चों में से एक है. यह तमिलनाडु राज्य के छोटे वेलंकन्नी शहर में स्थित है. एक स्थानीय मान्यता के अनुसार यहां मैरी के दर्शन हुए हैं.
हालांकि, वेलंकन्नी में मैरी के दर्शन के बारे में कोई ऐतिहासिक रिकॉर्ड नहीं है. बेसिलिका में आर्किटेक्चर की एक गॉथिक शैली है और इसमें तीन चैपल हैं. इस चर्च का पूरा आर्किटेक्चर सफेद रंग का है, केवल कुछ शीर्ष भाग को छोड़कर यह लाल रंग की टाइलों से बना है.
इसे सेंट जोसेफ कैथेड्रल के रूप में भी जाना जाता है. रोमन कैथोलिक आर्चडीओसीज भारत में सबसे खूबसूरत चर्चों में से एक है. इसकी स्थापना 28 मार्च, 1980 को हुई थी. यह चर्च मन्त्रीपुखरी, इंफाल के मुख्य शहर से 5 किमी की दूरी पर स्थित है. इसके शानदार आर्किटेक्चर शहर के सबसे अधिक देखे जाने वाले आकर्षणों में से एक हैं.
बेसिलिका ऑफ़ द होली रोज़री को आमतौर पर बंदेल चर्च के रूप में जाना जाता है. यह पश्चिम बंगाल राज्य के सबसे पुराने ईसाई चर्चों में से एक है. चर्च पश्चिम बंगाल में पुर्तगालियों की बसावट का जीता-जागता सबूत है.
इसकी स्थापना 1599 में हुई थी और यह मदर मरियम को समर्पित है. यह एक पैरिश चर्च है, जो कलकत्ता के रोमन कैथोलिक आर्किडोसिस का हिस्सा है. बंडेल चर्च न केवल पश्चिम बंगाल बल्कि पूरे भारत में भी सबसे उल्लेखनीय ऐतिहासिक चर्चों में से एक है.
इमैक्युलेट कॉन्सेप्शन कैथेड्रल पुडुचेरी के मशहूर चर्च में से एक है. यह “सांबा कोविल” के नाम से प्रसिद्ध है, जो ‘सेंट पॉल के कोविल’ से निकला है. चर्च कई मरम्मत और पुनर्निर्माण के दौर से गुजरा है.
चर्च की वर्तमान संरचना फ्रांस में एक चर्च के साथ एक मिलती है. इसे 1791 में बनाए गए प्राचीन चर्च के खंडहरों के ऊपर बनाया गया था. चर्च में आकर्षक कॉलम जोड़े गए हैं. चर्च के सामने मैरी की एक प्रतिष्ठित प्रतिमा है जिसमें उनकी बाहों में नन्हे यीशु हैं.
मेडक कैथेड्रल मशहूर चर्च है. यह दक्षिणी भारत के चर्च के लिए मेडक में बिशप की सीट है. क्रिसमस यहां बड़े धूमधाम से मनाया जाता है.
11000 फीट से अधिक की ऊंचाई पर स्थित लेह में मोरावियन चर्च भारत के सबसे ऊंचाई पर बने चर्चों में से एक है. चर्च बेहद प्राचीन है. शहर के स्थानीय लोगों के लिए यह क्रिसमस का आनंद लेने के लिए एक शानदार जगह है.
महान संत गीवर्गीज मार ग्रेगोरियोस के नाम पर बना पारुमल चर्च केरल के मुन्नार शहर के प्रमुख स्थलों में से एक है. क्रिसमस की शाम पर इस चर्च में काफी भीड़ देखी जाती है.
आर्कडायसिस में स्थित सेंट मैरी बेसिलिका बैंगलोर का सबसे पुराना चर्च है जहां सभी धार्मिक विश्वासों के लोग अपने दिल में एक इच्छा लेकर आते हैं. गॉथिक शैली में निर्मित सेंट मैरी की बेसिलिका को कर्नाटक राज्य में एक छोटी बेसिलिका का दर्जा दिया गया है. इस जगह पर क्रिसमस वाकई खास होता है.
Maha Kumbh Mela in 2025 : कुंभ मेला हर 3 साल, अर्ध कुंभ मेला हर… Read More
Ujjain Mahakal Bhasma Aarti Darshan : उज्जैन महाकाल भस्म आरती दर्शन के साथ दिव्य आनंद… Read More
Kulgam Travel Blog : कुलगाम शब्द का अर्थ है "कुल" जिसका अर्थ है "संपूर्ण" और… Read More
Vastu Tips For Glass Items : बहुत से लोग अपने रहने की जगह को सजाने… Read More
Travel Tips For Women : महिलाओं के लिए यात्रा करना मज़ेदार और सशक्त बनाने वाला… Read More
Kishtwar Tourist Places : किश्तवाड़ एक फेमस हिल स्टेशन है, जो अपनी प्राकृतिक सुंदरता, समृद्ध… Read More